एक आनंदपुर नाम का गांव था। उस गांव के पास एक छोटा सा घना जंगल था। उस जंगल में अनेक प्रकार की वनस्पतियां और पेड़-पौधे थे। लेकिन उस जंगल में एक ऐसा पेड़ भी था, जिसके सभी फल रंग-बिरंगे और बहुत चमकीले थे।
गांव के लोग जंगल के उस जादुई पेड़ को रहस्यमयी मानते थे और कोई भी उस पेड़ के पास जाने से कतराता था। गांव वालो ने अपने बच्चो को भी साफ हिदायत दे रखी थी कि उस पेड़ के पास कोई नहीं जायेगा।
एक दिन गांव के 5 बच्चे खेलते-खेलते जंगल में पहुंच जाते है। इन पांचों बच्चो के नाम होते है- रोहित, हिमांशु, स्नेहा, भूमि और नायु। पांचों बच्चो को जंगल में वो पेड़ दिखाई देता है। पांचों ही उसके सुंदर फल देखकर खाने के लिए लालायित हो जाते है। वो अपने घर वालों की समझाई बातें भूल जाते है।